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श्री वैष्णवी महोत्सव (वार्षिकोत्सव)
विद्या-बुद्धि समृद्धि दात्री मनोवांछित फल प्रदायिनी माता वैष्णवी का वर्षगांठ हर वर्ष फरवरी माह में हिन्दी तिथि के अनुसार मनाया जाता है। विद्दवानों एवं आचार्यों का मानना है कि किसी दैविक स्थान में वार्षिकोत्सव का आयोजन सर्व शुद्धि एवं पूनः स्थापन हेतु किया जाता है, क्योंकि प्राण-प्रतिष्ठा के समय देवी-देवताओं का आह्वाहन कर उन्हें जनकल्याण हेतु पद्स्थापित किया जाता है और वार्षिकोत्सव द्वारा उन्हें नित्य विराजमान रहने के लिए प्रार्थणा की जाती है। ताकि, देवी की कृपा सदैव बनी रहे। और, माँ वैष्णवी के चरणों में श्रद्धा-सुमन अर्पित कर समग्र कल्याण हेतु माता का आह्वाहन कर सम्पूर्ण विश्व को सुख-शांति-समृद्धि से सम्पन्न करने हेतु प्रार्थना किया जाता है, जिसमें कलश-यात्रा, माता महाश्रृंगार, छप्पन भोग, कन्या पूजन, सामूहिक दुर्गा पाठ, जागरण, नृत्य नाटिका एवं भव्य भंडारा का आयोजन किया जाता है।
श्री वैष्णवी महोत्सव (वार्षिकोत्सव)
श्री वैष्णवी महोत्सव (वार्षिकोत्सव)
Top Programmes
श्री वैष्णवी शिव राम सेवा संस्थान के तत्वाधान में देवी दर्शन महायज्ञ महोत्सव समिति के द्वारा आयोजित "श्री वैष्णवी महोत्सव"
3-12
October
2024
Up Coming Event
देवी-दर्शन महोत्सव 2024
श्रीवैष्णवी शिव राम सेवा संस्थान के तत्वावधान में देवी-दर्शन महायज्ञ महोत्सव समिति द्वारा जन कल्याण हेतु सामूहिक 1,111 कलश स्थापना-पूजन, श्रीमद्धदेवीभागवत् महा-पुराण, श्रीदूर्गासप्तसती शतचण्डी महायज्ञ, श्री बाल्मीकीरामायण, माता का महा-श्रृंगार, सहस्त्रार्चण, छप्पन-भोग समर्पण, कन्या-पूजन, कन्या एवं ब्राह्मण भोजन, हवन, 1111 दीपों से माता की महाआरती व संध्या महाआरती एवं यज्ञ पूर्णाहूति आदि का आयोजन किया जा रहा है।
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Testimonial
देवी-दर्शन, राँची का मंदिर परिसर सचमुच अद्दभुत है। बच्चों के लिए खेलने की सुविधा मैंने पहली बार देखा है। दुर्गा नवरात्री के समय १,१११ कलश स्थापन महोत्सव का नजारा सचमुच अद्दभुत होता है। मंदिर के भव्य निर्माण में भक्त-जन को आवश्य सहयोग करना चाहिए।
I had been to Devi Darshan, located at Getlatu, Ranchi. There I sought blessings from Ma Vaishnavi. Sat for an hour for peace of mind. Also enjoyed the beauty of the Mandir premises.
गेतलातु, राँची स्थित देवी-दर्शन में पूजन-व्यवस्था और मंदिर-प्रांगन देखकर बहुत प्रभावित हुआ हूँ। मुझे जब मौका मिलता है, शाम को अपनी बेटी के साथ माँ वैष्णवी के दर्शन कर लेती हूँ। बेटी भी मंदिर परिसर में खेल कर अपना मन बहला लेती है।.